केरल में अब मैरिज रजिस्ट्रेशन के वक्त कोई भी रजिस्ट्रार धर्म के बारे में नहीं पूछ सकेगा। राज्य सरकार ने इसको लेकर एक सर्कुलर जारी किया। जिसमें रजिस्ट्रेशन के वक्त सिर्फ उम्र और शादी के प्रूफ ही मांगे जाएंगे।
सरकार को यह सर्कुलर केरल हाईकोर्ट के पिछले साल के एक आदेश के बाद जारी करना पड़ा। जिसमें कोर्ट ने दो अलग-अलग धर्म के एक कपल को मैरिज रजिस्ट्रेशन की परमीशन दी थी।
दरअसल रजिस्ट्रार ने धर्म का हवाला देकर एक कपल की शादी का रजिस्ट्रेशन करने से मना कर दिया था। जिसके बाद मामला कोर्ट पहुंचा था।
अब पढ़िए मामला क्या था…
पिछले साल अक्टूबर में ललन और आयशा नाम का एक कपल शादी के रजिस्ट्रेशन के लिए कोच्चि नगर निगम ऑफिस पहुंचा। निगम के सचिव स्थानीय रजिस्ट्रार भी हैं। जब डॉक्यूमेंट वैरिफिकेशन की बात आई तो रजिस्ट्रार ने मैरिज रजिस्ट्रेशन करने से मना कर दिया। रजिस्ट्रार का कहना था कि, लड़की की मां हिंदू है जबकि पिता मुसलमान।