राज्यपाल अनुसूईया उइके को मणिपुर का राज्यपाल बनाए जाने के बाद राजनीति ने एक और करवट बदली है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल रविवार शाम राजभवन पहुंचे। वहां उन्होंने राज्यपाल अनुसूईया उइके से मुलाकात की। उन्होंने प्रदेश के विकास में सहयोग के लिए राज्यपाल का आभार जताया। इससे पहले उन्होंने मीडिया से कहा, राज्यपाल मेरी बड़ी बहन हैं। लेकिन भाजपा ने राजभवन को राजनीति का अखाड़ा बना दिया।
बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्यपाल से उनके पास लंबित पड़े आरक्षण विधेयकों के भविष्य पर भी बात की है। कांग्रेस मांग उठा रही है कि राज्यपाल यहां से जाने से पहले आरक्षण विधेयकों पर हस्ताक्षर कर दें ताकि प्रदेश के अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग और सामान्य वर्ग के गरीबों को आरक्षण का फायदा दिया जा सके। इससे पहले प्रेस से बात करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा, उन्होंने कहा था कि एक घंटे के भीतर हस्ताक्षर कर दूंगी। यह बयान उनका मीडिया में भी आया था। मुझे भी बोली थीं। लेकिन उसके बाद एकात्म परिसर से पर्चियां आती गईं और उसके बाद ..। वे बहुत भद्र महिला हैं, सीधी-सादी और सरल महिला हैं। वे मेरी बड़ी बहन जैसी हैं। जिस प्रकार से भाजपा के लोग राजभवन को राजनीति का अखाड़ा बना दिये थे वह बेहद दुर्भाग्यजनक है।